गुरुग्राम। बुधवार को यहां सेक्टर-43 स्थित पावरग्रिड टाउनशिप के मल्टीपर्पज हॉल में आयोजित जिला कष्ट निवारण समिति की बैठक में मुख्यमंत्री मनोहर लाल के समक्ष कुल 18 समस्याएं अथवा शिकायतें रखी गई थी, जिनमें से मुख्यमंत्री ने 13 समस्याओं का मौके पर निपटारा किया। बाकी को कार्य पूरा होने तक लंबित रखा है। इन्हीं में से एक मुद्दा था सेक्टर-29 स्थित लेजरवैली पार्क की दुर्दशा और वहां पर बाहुबलियों द्वारा किए गए कब्जे का।
जब शिकायतकर्ता ने सीएम के समक्ष कहा कि इस पार्क की पार्किंग पर बाहुबलियों का कब्जा था, जिसे प्रशासन की मदद से हटवाया गया है तो मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा-अब कोई बाहुबलि नहीं हैं, सभी सामान्य बलि हैं। बैठक में लेजरवैली पार्क के खराब पड़े म्यूजिकल फाउंटेन का मामला भी रखा गया। जिस पर जीएमडीए के अधिकारियों ने बताया कि इस पार्क में लगे फव्वारे बहुत पुराने होकर खराब हो चुके हैं। अब नया अनुमान तैयार कर लिया गया है और वित वर्ष-2022-23 में प्रस्तावित कार्य योजना के अंतर्गत सभी पार्कों में भी फव्वारे लगाने का प्रावधान करने का प्रस्ताव है। जिस पर लगभग 6.5 करोड़ रुपये की लागत आएगी। लेजरवैली पार्क में गंदगी के ढेर होने और सिक्योरिटी गार्ड नहीं होने का मामला भी उठाया गया, जिस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि एक सप्ताह में पार्क की सफाई करवाकर इसकी फोटो उनके स्टाफ के पास भिजवाएं। उन्होंने कहा कि यदि पार्क में सिक्योरिटी गार्ड रखने का प्रावधान है तो वहां पर गार्ड भी लगवाएं।
दौलताबाद रोड एरिया की ईकाइयों को दी राहत
मुख्यमंत्री ने दौलताबाद रोड इंडस्ट्रीयल एरिया को राहत पहुंचाते हुए कहा कि उनके एरिया की डेवेलपमेंट मास्टर प्लान में संशोधन करके रिहायशी तथा औद्योगिक क्षेत्र अलग-2 दर्शाए जाएंगे। यह कार्य 15 जुलाई तक पूरा किया जाएगा। इस क्षेत्र में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट भी लगाया जाएगा। बैठक में दौलताबाद रोड इंडस्ट्रीयल एसोसिएशन की समस्या भी मुख्यमंत्री के समक्ष भी रखी गई थी, जिस पर उन्होंने बताया कि यह समस्या उनके संज्ञान में है और इस पर मुख्यालय पर कार्यवाही की जा रही है। उन्होंने बताया कि 15 जुलाई तक डेवेलपमेंट प्लान में बदलाव हो जाएगा और औद्योगिक व आवासीय क्षेत्र को अलग-अलग दर्शाया जाएगा। एसोसिएशन के अध्यक्ष पवन कुमार जिंदल और संरक्षक विनय गुप्ता ने मुख्यमंत्री को बताया कि यह औद्योगिक क्षेत्र लंबे समय से यहां बसा हुआ है जिसमें 266 से ज्यादा एमएसएमई ईकाईयां चल रही हैं। यह मामला गत वर्ष 17 नवंबर को हुई बैठक में भी रखा गया था, जिसमें मुख्यमंत्री ने नगर निगम के वरिष्ठ नगर योजनाकार को निर्देश दिए थे कि वे इस मामले को निदेशालय स्तर पर निजी रूप से फॉलो करें। निगम के वरिष्ठ नगर योजनाकार संजीव मान ने बताया कि डीटीपी प्लानिंग द्वारा प्रस्ताव तैयार करके मुख्यालय पर भेजा गया है और वे उसे फॉलो कर रहे हैं। मुख्यालय से बताया गया है कि विकास योजना में बदलाव की प्रक्रिया चल रही है।
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